दूरस्थ अंचल में गुणवत्तापूर्ण स्वास्थ्य सेवाएं देने पर मोरगा पीएचसी को मिला गुणवत्ता प्रमाण पत्र


कोरबा (सेंट्रल छत्तीसगढ़)हिमांशु डिक्सेना:-
कोरबा जिले के दूरस्थ वनांचल में भी गुणवत्तापूर्ण स्वास्थ्य सेवा और मरीजों को बेहतर इलाज उपलब्ध कराने के लिए प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र मोरगा को केन्द्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय ने राष्ट्रीय गुणवत्ता आश्वासन मानक प्रमाण पत्र प्रदान किया है। केन्द्रीय स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्रालय की विशेषज्ञों की टीम के मोरगा पीएचसी में उपलब्ध सेवाओं के परीक्षण के बाद गुणवत्ता प्रमाण-पत्र के लिए चयन किया गया है। मुख्यमंत्री भूपेश बघेल और स्वास्थ्य मंत्री टी.एस. सिंहदेव ने समर्पित स्वास्थ्य सेवाओं के लिए उत्कृष्टता प्रमाण-पत्र हासिल करने वाले इस स्वास्थ्य केन्द्र के अधिकारियों-कर्मचारियों को बधाई दी है। राष्ट्रीय गुणवत्ता आश्वासन प्रमाण-पत्र प्रदान करने के पूर्व विशेषज्ञों की टीम द्वारा मोरगा प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र में छह मानकों ओपीडी, आई.पी.डी, लेबोरेट्री, प्रसव कक्ष, राष्ट्रीय स्वास्थ्य कार्यक्रमों के क्रियान्वयन और जनरल एडमिन व्यवस्था का मूल्यांकन किया गया। विशेषज्ञों द्वारा मरीजों के लिए अस्पताल में उपलब्ध सेवाओं की गुणवत्ता के परीक्षण में प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र मोरगा को 84.71 प्रतिशत अंक मिले हैं। मूल्यांकन में खरा उतरने पर ही केन्द्रीय स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्रालय द्वारा प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र को गुणवत्ता आश्वासन प्रमाण-पत्र जारी किया गया हैं।
मोरगा प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र जिले के दूरस्थ 35 गांवों के लोगों को स्वास्थ्य सुविधा दे रहा है। सूरजपुर तथा कोरिया जिले की सीमा पर स्थित गांव के लोग भी बीमार होने पर इसी स्वास्थ्य केन्द्र से ईलाज कराते हैं। इस स्वास्थ्य केन्द्र की प्रतिदिन औसत ओपीडी लगभग 30 मरीज है। अस्पताल में एक एमबीबीएस डॉक्टर सहित एक आयुर्वेदिक चिकित्सक और एक ग्रामीण चिकित्सा सहायक तथा दो स्टाफ नर्स पदस्थ हैं। मोरगा का स्वास्थ्य केन्द्र रात में भी मरीजों को ईलाज की सुविधा देता है। यहां दस बिस्तर वार्ड में भर्ती की सुविधा भी उपलब्ध है। अस्पताल में प्रतिमाह 25 से अधिक प्रसव हो रहे हैं। अस्पताल में ऑक्सीजन सिलेण्डर और ऑक्सीजन कंसन्ट्रेटर की सुविधा भी मरीजों के लिए उपलब्ध है। इसके साथ ही स्वास्थ्य केन्द्र की जांच प्रयोगशाला में खून और पेशाब की सात प्रकार की जांच भी की जाती है। मरीजों की आवश्यकतानुसार किट आधारित जांच में हिमोग्लोबिन, हेपेटाइटिस बी, टायफाइड, डेंगु, मलेरिया से लेकर शुगर, यूरिन एल्ब्यूमिन और प्रेग्नेंसी टैस्ट भी प्रयोगशाला में किया जाता है। कोविड संक्रमण के दौरान भी कोरोना की जांच रैपिड एंटीजन किट से करने की सुविधा भी इस प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र में उपलब्ध है। डॉ. खूबंचद बघेल स्वास्थ्य सहायता योजना के तहत भी इस स्वास्थ्य केन्द्र में मरीजों का बड़ी संख्या में निःशुल्क ईलाज किया जा रहा है। केन्द्रीय स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्रालय की टीम ने प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र में इन सुविधाओं की गुणवत्ता का मूल्यांकन करने के बाद ही गुणवत्ता आश्वासन प्रमाण पत्र जारी किया है। यह प्रमाण पत्र अगले एक वर्ष तक वैध रहेगा।