हाई कोर्ट का फैसला: विवाहित पुत्री अनुकंपा पाने की हकदार.


बिलासपुर(सेंट्रल छत्तीसगढ़):
 छत्तीसगढ़ हाईकोर्ट ने एसईसीएल के मृत कर्मचारी की विवाहित आश्रित बेटी की अनुकंपा नियुक्ति के संबंध में प्रस्तुत आवेदन पर 30 दिन के अंदर निर्णय लेने का निर्देश SECL को दिया हैं. कोर्ट ने याचिकाकर्ता को एसईसीएल से 10 हजार रुपये हर्जाना प्राप्त करने का हकदार भी माना है.

एसईसीएल को छत्तीसगढ़ हाईकोर्ट का आदेश (Chhattisgarh High Court order to SECL )

याचिकाकर्ता शोभा परिडा के पति कंपो परिडा SECL बैकुंठपुर में कार्यरत थे. उनका 14 अप्रैल 2021 को निधन हो गया. पत्नी ने बेटे कृष्ण चंद्र को अनुकंपा नियुक्ति देने आवेदन दिया, लेकिन उसकी आयु अधिक होने पर आवेदन निरस्त कर दिया गया. उसके बाद उन्होंने आश्रित और विवाहित पुत्री नर्मदा को अनुकंपा नियुक्ति देने आवेदन पेश किया. इस पर SECL प्रबंधन ने विवाहित पुत्री की आश्रित होने के संबंध में जांच रिपोर्ट मांगी. लेकिन एसडीएम के जांच रिपोर्ट पेश करने के बाद भी नियुक्ति नहीं दी गई. इस पर आश्रित ने हाईकोर्ट में याचिका लगाई. इस याचिका पर जस्टिस संजय अग्रवाल की बेंच में सुनवाई हुई. कोर्ट ने SECL प्रबंधन को याचिकाकर्ता नर्मदा परिडा के आवेदन को स्वीकार कर 30 दिन के अंदर निर्णय करने का निर्देश दिया हैं. साथ ही कोर्ट ने याचिकाकर्ता को SECL प्रबंधन से 10 हजार रुपये प्राप्त करने का हकदार भी माना है.