कोरबा (सेंट्रल छत्तीसगढ़) हिमांशु डिक्सेना:- अनुविभाग को जिले का दर्जा दिए जाने की मांग लगातार मजबूत होती जा रही है. अलग-अलग सामाजिक संगठनों, संघ और समितियों के समर्थन के बाद आज 30 वें दिन नगर पालिका परिषद कटघोरा के अध्यक्ष रतन मित्तल उनके साथ नपाप के उपाध्यक्ष बजरंग पटेल सभी पार्षदों के साथ छिर्रा के व्यवहार न्यायालय स्थित अधिवक्ताओं के धरना स्थल पहुँचे और कटघोरा को जिला बनाये जाने की मांग को अपना नैतिक, औपचारिक समर्थन दिया. उसके पश्चात मुख्यमंत्री के नाम अनुविभागीय अधिकारी नंदजी पांडेय को ज्ञापन सौपा गया. उन्होंने सरकार से इस बारे में मांग किया है कि सभी का प्रयास है कि आने वाले गणतंत्र दिवस तक कटघोरा को जिला बनाये जाने का एलान किया जाए.
नगर पालिका अध्यक्ष रतन मित्तल ने कहा कि कटघोरा ऐतिहासिक तहसील है लेकिन आज यहां के लोगो को अपने हर कार्य के लिए कोरबा जिले की दौड़ लगानी पड़ती है. कटघोरा का भौगोलिक विस्तार इतना अधिक है कि जिला मुख्यालय से यह दूरी सौ किलोमीटर से भी ज्यादा है ऐसे में ग्रामीणजनों को होने वाली समस्याओं को समझा जा सकता है. जनमानस के इन्ही परेशानियों को महसूस करते हुए क्षेत्रीय सांसद ज्योत्सना महंत, कटघोरा विधायक पुरषोत्तम कँवर व पाली-तानाखार के विधायक मोहितराम केरकेट्टा तत्काल इस ओर पहल करें. ताकि कटघोरा को जिले का दर्जा देकर दूरस्थ वनांचल क्षेत्र के ग्रामीणों को होने वाली समस्या से निजात मिल सके.
“मांग नही कटघोरा को जिला बनाना हमारा अधिकार है” संजय अग्रवाल
धरना स्थल पर पहुंचे पार्षद संजय अग्रवाल ने साफ किया कि कटघोरा को जिला बनाना हमारी मांग नही बल्कि हमारा अधिकार है. निश्चित ही हमारे ही प्रयासों में हुई कमी का नतीजा है कि हम आज तक अपने इस अधिकार से वंचित है. उन्होंने बताया कि काफी वर्षों से कटघोरावासियों ने हमेशा से ही इस ओर ईमानदारी से प्रयास किया है. जिस तरह से सर्वदलीय बैठके पूर्व में हुई, पार्षद से लेकर सांसद, विधायक और मंत्रियो के डेलिगेशन ने पहल की. अब तक कटघोरा को जिला बन जाना था लेकिन पूर्व मुख्यमंत्री रमन सिंह की वादा खिलाफी को कभी भुलाया नहीं जा सकता है. लेकिन वर्तमान में छ्त्तीसगढ़ की भूपेश सरकार से सभी को पूरी उम्मीद है कि कटघोरा को जिले सौगात आगामी 26 जनवरी को दे देंगे.
धरना स्थल में अपना समर्थन देने वालो में नगर पालिका अध्यक्ष रतन मित्तल, उपाध्यक्ष बजरंग पटेल, पार्षद संजय अग्रवाल, शरद गोयल, अर्चना अग्रवाल, ममता अग्रवाल, रविन्द्र मोहन बघेल, मुरली साहू, केशव अग्रवाल, संदीप अग्रवाल, राज जायसवाल, जयनारायण कंवर, आत्माराम पटेल, कमलेश पटेल एवं कांग्रेस के पदाधिकारी एवं बड़ी संख्या में अधिवक्तागण उपस्थित रहे.