कोरबा (सेन्ट्रल छत्तीसगढ़) कटघोरा :- बरसात अभी माह भर दूर है बावजूद एकएक हुए बारिश में विभागीय बदइंतजामी की पोल खुलने लगी है। गली-कूचों में पानी भर जाए, तो समझा जा सकता है, लेकिन कटघोरा-बिलासपुर मुख्य मार्ग पर नगर के बीच से गुजरी सड़क भी नाले में तब्दील देखी जा सकती है। ऐसे में बारिश के मौसम में व्यवस्था दुरूस्त रखने नगर पालिका के दावे बेमानी साबित हो रहे हैं। दुर्गा मंदिर के करीब सड़क पर पानी जमा होने से लबालब मुख्य मार्ग देखा जा सकता है।
सड़क पर बारिश का पानी न रूके, इसके लिए हर साल राशि खर्च की जाती है। बावजूद इसके राहगीरों को पानी गिरते ही परेशानियों से गुजरना पड़ता है। राजमार्ग होने के कारण इस रास्ते से लगातार बाइक, कार से लेकर बस व भारी मालवाहकों की आवाजाही 24 घंटे लगी रहती है। ऐसे में सड़क लबालब होने से छोटे वाहनों के दुर्घटना ग्रस्त होने का खतरा बढ़ जाता है। आलम यह है कि इस स्थान पर पुरानी बस्ती में सड़क पर बरसाती पानी इस कदर बह रहा था कि जैसे वहां सड़क के स्थान पर कोई नाला बह रहा हो। सड़क में पानी भरने से आने-जाने वालों को खासी परेशानियों का सामना करना पड़ा है। खासकर पैदल राहगीर व स्कूली बच्चों के लिए सड़क पर इस स्थान से गुजरने के दौरान दुर्घटना का शिकार होने या गिरकर चोटिल होने का खतरा बना रहता है। पैदल चलने वालों को खासी दिक्कतों का सामना करना पड़ा।
इससे पहले नगर पालिका प्रबंधन ने कोरोना वायरस का हवाला देते हुए सघन सफाई कार्यों कराए जाने का दावा करती रही है। लोगों को असुविधा न हो और बारिश के पूर्व संक्रामक बीमारियों के फैलने का खतरा रोकने नालियों की नियमित सफाई कराने की बात भी की जाती रही है। बावजूद इसके यह समस्या देखी जा रही है जो पालिका प्रबंधन के दावों को झुटलाने काफी है। सवाल यह उठता है कि अगर वास्तव में क्षेत्र में व्यापक सफाई अभियान चलाया गया और नालियों के कूड़े का व्यवस्थापन किया गया तो फिर नालियों का पानी सड़क पर चढ़कर भला कैसे बह रहा है, इस बात का जवाब देने वाला कोई नहीं।
व्यूरो रिपोर्ट कटघोरा …….