(सेन्ट्रल छत्तीसगढ़ ): छत्तीसगढ़ में ACB ने तीन बड़ी कार्रवाई की है. बेमेतरा में कार्यपालन अभियंता डीडी जायसवाल (Executive Engineer DD Jaiswal) रिश्वत लेते गिरफ्तार किया गया है. दो लाख रुपये की रिश्वत लेते वह गिरफ्तार हुआ है. सड़क निर्माण के भुगतान के लिए रिश्वत मांग रहा था. सूरजपुर में 7वें वेतनमान के भुगतान के लिए रिश्वत लेते प्राचार्य को रंगे हाथों दबोचा गया है.
इसके साथ ही दुर्ग में भी एसीबी की टीम ने कार्रवाई की है. दुर्ग के ग्राम ढोर के पटवारी कार्यालय से 5500 रुपये की रिश्वत लेते रंगे हाथों पटवारी गिरफ्तार किया गया है. एसीबी ने उसे गिरफ्तार किया है. प्रार्थी से क्रय जमीन के प्रमाणीकरण और ऋण पुस्तिका जारी करने के एवज में रिश्वत मांगने का आरोप था. पटवारी का नाम प्रमोद श्रीवास्तव और उसके सहयोगी का नाम लेखराम निषाद है.
दो लाख रुपये की रिश्वत मांगी थी
जानकारी के मुताबिक, बेमेतरा जिले में पदस्थ कार्यपालन अभियंता दीनदयाल जायसवाल ने सड़क निर्माण कार्य के बिल भुगतान करने के एवज में प्रार्थी से 2 लाख रुपये की मांग की थी. जिसकी शिकायत प्रार्थी ने ईओडब्ल्यू व एसीबी (EOW and ACB) में की थी. उसके बाद एसीबी की टीम ने आज ट्रैप करने के बाद रिश्वत की 20 हजार रुपये की रकम लेते उसे रंगे हाथ गिरफ्तार किया है.
दो अन्य मामलों में भी कार्रवाई
ईओडब्ल्यू/एसीबी के एसपी पंकज चंद्रा और एएसपी अमृता सोनी के नेतृत्व में कार्रवाई की गई है. इसमें सूरजपुर जिले में टीम ने शासकीय विद्यालय के प्राचार्य शिवधर ओझा को गिरफ्तार किया है. प्राचार्य को एसीबी ने सातवें वेतन के एरियर्स राशि की भुगतान को लेकर रिश्वत लेते दबोचा है. इसके साथ ही दुर्ग में पटवारी ऑफिस में कार्यरत दो कर्मचारी ऋण पुस्तिका जारी करने के लिए रिश्वत लेते पकड़े गए हैं.
भ्रष्टाचारियों का गढ़ बना छत्तीसगढ़ !
जोगी कांग्रेस के युवा विंग के अध्यक्ष प्रदीप साहू ने राज्य सरकार पर गंभीर आरोप लगाए हैं. उन्होंने कहा कि छत्तीसगढ़ भ्रष्टाचारियों का गढ़ बनता जा रहा है. शासकीय कर्मचारी और अधिकारी छोटी-छोटी चीजों को लेकर रिश्वत की मांग करते हैं. जनता एक तो ऐसे ही महंगाई से परेशान है और अब रिश्वतखोर अफसरों का दंश झेल रही है. पहले भाजपाइयों ने प्रदेश को लूटा और अब कांग्रेस भी उसी राह पर चल रही है