मां दंतेश्वरी के मंदिर में प्रज्वलित होंगे मनोकामना दीप ,मंदिर के कपाट खुलने पर संशय बरकरार.


जगदलपुर
(सेंट्रल छत्तीसगढ़): बस्तर की आराध्य देवी मां दंतेश्वरी मंदिर में इस साल श्रद्धालु अपनी मनोकामना दीप ज्योत जला सकेंगे. टेंपल कमेटी और जिला प्रशासन ने जिले में कोरोना के प्रकोप के कम होने और मां दंतेश्वरी के प्रति श्रद्धालुओं की आस्था को ध्यान में रखते हुए सीमित संख्या में मनोकामना दीप जलाने के निर्देश दे दिए हैं. हालांकि बीते वर्षो की तुलना में इस बार केवल 5 हजार ही मनोकामना दीप जलाए जा सकेंगे. टेंपल कमेटी और सेवादरों की निगरानी में इन ज्योति कलश को स्थापित किया जाएगा.

मां दंतेश्वरी के मंदिर में प्रज्वलित होंगे मनोकामना दीप

श्रद्धालुओं के लिए ऑनलाइन बुकिंग

वहीं टेंपल कमेटी (Temple Committee) के इस निर्णय से श्रद्धालुओं में भी काफी खुशी है. हालांकि नवरात्रि के दौरान देवी दर्शन के लिए मंदिर के कपाट खुलेंगे या नहीं इस पर संशय है. जिला प्रशासन ने भी अब तक मंदिरों के द्वार खोलने को लेकर किसी तरह से कोई निर्देश जारी नहीं किया है. वहीं ज्योति कलश के लिए श्रद्धालुओं के मंदिर पहुंचने का सिलसिला शुरू हो चुका है और प्रशासन ने श्रद्धालुओं के लिए ऑनलाइन बुकिंग की भी सुविधा रखी है.

Maa Danteshwari Temple

मां दंतेश्वरी मंदिर

सीमित संख्या में जलेंगे ज्योति कलश मनोकामना दीप

बस्तर में भी पिछले 2 सालों से नवरात्रि के दौरान देवी मंदिरों में ज्योति कलश स्थापना के लिए पाबंदियां थी. इससे श्रद्धालु काफी निराश थे. कोरोना संक्रमण की वजह से पिछले साल केवल एक ही दीप ज्योति जलाई थी और मंदिर के कपाट भी श्रद्धालुओं के लिए बंद थे. लेकिन इस साल बस्तर जिले में कोरोना के मामले कम हुए हैं. इसके साथ ही श्रद्धालुओं की मां दंतेश्वरी के प्रति आस्था को ध्यान में रखते हुए सीमित संख्या में ज्योति कलश मनोकामना दीप जलाने की अनुमति का रास्ता भी साफ हो गया है.

Online booking facility in the temple

मंदिर में ऑनलाइन बुकिंग की सुविधा

मंदिर के कपाट पर संशय

इस साल भी कयास लगाया जा रहा था कि कोरोना की तीसरी लहर को ध्यान में रखते हुए श्रद्धालुओं को मनोकामना दीप जलाने की अनुमति (Devotees Are Allowed To Light Lamp as They Wish) नहीं मिलेगी, लेकिन जिला प्रशासन ने निर्देश जारी कर केवल 5 हजार मनोकामना दीप जलाने की अनुमति दी हैं. वहीं आदेश जारी होने के बाद लगातार श्रद्धालु मंदिर पहुंचकर मनोकामना दीप के लिए बुकिंग कर रहे हैं. हालांकि नवरात्रि के दिन से देवी मंदिरों के कपाट श्रद्धालुओं के लिए खुलेंगे या नहीं इस पर अभी भी संशय है. बस्तर कलेक्टर ने भी अब तक कोई दिशानिर्देश जारी नहीं किया है. लेकिन इस साल मनोकामना दीप जलने से श्रद्धालुओं में काफी खुशी है.

हवन में शामिल होने की नहीं रहेगी अनुमित

हालांकि मनोकामना दीप टेंपल कमेटी (Temple Committee) के सदस्य और सेवादारों की ओर से दीप जलाए जा सकेंगे. महाअष्टमी के दिन होने वाले हवन में भी श्रद्धालु शामिल नहीं हो सकेंगे. जिला प्रशासन, सोशल मीडिया के विभिन्न प्लेटफार्म के माध्यम से श्रद्धालुओं को घर बैठे ही उनके मनोकामना दीप और दंतेश्वरी देवी के दर्शन कराने की व्यवस्था कर रहा है.

सात सौ रुपये लेकर 17 सौ के करीब ली जा रही है राशि

टेंपल कमेटी (Temple Committee) के सदस्य और पुजारी कृष्ण कुमार का कहना है कि इस साल तेल के ज्योत प्रज्वलित करने के लिए श्रद्धालुओं से 701 रुपये लिए जा रहे हैं, जबकि घी की ज्योती के लिए 1,651 रुपए की राशि ली जा रही है. हालांकि बीते वर्षो की तुलना में ज्योति कलश के रुपए में बढ़ोतरी हुई है लेकिन श्रद्धालु इस रकम को भी आस्था के लिए देने से नहीं हिचकिचा रहे हैं.

टेंपल कमेटी के सचिव सतीश मिश्रा ने बताया कि अभी तक 4,500 से अधिक लोग मनोकामना दीप जलाने के लिए बुकिंग कर चुके हैं. बताया जा रहा है कि आने वाले 3 दिन में यह संख्या 5 हजार से भी अधिक हो सकती हैं. फिलहाल नवरात्रि के दिनों में शहर के देवी मंदिरों के कपाट खुलेंगे या नहीं इस पर अब तक जिला प्रशासन की तरफ से कोई निर्णय नहीं आया है.