कोरोना संक्रमण के कारण 6 महीने से बंद है ट्रेन, पटरी पर दौड़ने से पहले किया जाएगा अपडेट…


रायपुर (सेंट्रल छत्तीसगढ़़) ब्यूरो रिपोर्ट :-
कोरोना संक्रमण के कारण लगभग सभी सार्वचनिक परिवहनों को बंद कर दिया गया है. वहीं कोरोना संक्रमण के कारण लगभग 6 महीने से रेल सेवा भी बंद है. ट्रेनों के इंजन रेलवे कोचिंग डिपो पर बंद खड़े हैं. ऐसे में जब भी रेलवे की ओर से ट्रेनों को चलाने का आदेश होगा. पहले इंजीनियर की ओर उसकी जांच की जाएगी और उन्हें पूरी तरह से अपग्रेड किया जाएगा. उसके बाद ही ये इंजन पटरी पर दौड़ सकेंगे.

देश के दूसरे रेल मंडलों सहित रायपुर रेल मंडल के 36 यात्री लोकोमोटिव इंजन और 17 एक्सप्रेस गाड़ियों के इंजन दुर्गा बिलासपुर रेलवे कोचिंग डिपो में खड़े हैं. मंडल के रेलवे अधिकारियों के मुताबिक इन ट्रेनों के इंजनों, वार्ड डिपो का वर्तमान में कोई मेंटेनेंस नहीं किया जा रहा है. यह पहली बार है ,जब इतने लंबे समय से इतनी तादाद में ट्रेनों के इंजन बंद पड़े हैं. इसलिए चलाने से पहले इंजन को रेलवे कोचिंग डिपो में अच्छी तरह से अपडेट करने की आवश्यकता होगी, ताकि रेलवे के निर्देश के बाद जब भी यात्री ट्रेनों का रेगुलर परिचालन शुरू हो, तो यात्री को सुरक्षित यात्रा उपलब्ध कराई जा सके.

ट्रेन शुरू होने पर होगा इंजनों का अपग्रेडेशन
रेलवे के अधिकरियों के मुताबिक ट्रेनों के इंजन वार्ड डिपो में जितने अधिक दिनों तक बंद खड़े रहेंगे, तो इंजन के ऑयल सहित अन्य पार्ट्स को उतना ही ज्यादा अपडेट करना पड़ेगा. ट्रेनों के इंजन और डिब्बों को अपग्रेडेशन में भारी-भरकम खर्च आता है. अभी इंजन और कितने दिन कोचिंग डिपो में खड़े रहेंगे कुछ कहा नहीं जा सकता. इसलिए रेलवे डिपो और खड़े इंजनों को बार-बार मेंटेनेंस करने का कोई मतलब नहीं है. इसलिए इंजन के अपग्रेडेशन पर केवल एक बार ही खर्च किया जाएगा, वह भी जब ट्रेन चलेगी. फिलहाल अभी पार्सल और स्पेशल ट्रेनें ही चलाई जा रही हैं.