प्रदेशभर के हड़ताली स्वास्थ्य कर्मचारियों को एस्मा लगाकर बर्खास्त करने को लेकर संविदा कर्मचारियों में नाराजगी देखी जा रही है, छत्तीसगढ़ शासकीय तृतीय वर्ग कर्मचारी संघ अब सरकार से संविदा कर्मचारियों के नियमितीकरण की मांग कर रहा है..

रायपुर (सेंट्रल छत्तीसगढ़) साकेत वर्मा : प्रदेशभर के हड़ताली स्वास्थ्य कर्मचारियों को एस्मा (Essential Services Managment Act) लगाकर बर्खास्त करने को लेकर छत्तीसगढ़ शासकीय तृतीय वर्ग कर्मचारी संघ ने नाराजगी जताई है. छत्तीसगढ़ शासकीय तृतीय वर्ग कर्मचारी संघ के प्रदेश अध्यक्ष विजय कुमार झा ने कहा कि इस तरह की कार्रवाई की कर्मचारी संघ निंदा करता है.

विजय कुमर ने कहा कि संविदा स्वास्थ्य कर्मचारियों को बर्खास्त करने वाले सीएमओ भूपेश बघेल सरकार को निपटाना चाहते हैं. स्वास्थ्य कर्मियों की हड़ताल को चर्चा के जरिए समस्या का निदान करने के बजाए स्वास्थ्य कर्मचारियों पर प्रशासनिक दादागिरी, एसमा लगाकर बर्खास्त करने के साथ ही उन्हें बर्खास्त किया जा रहा है.

भाजपा शासनकाल में भी हुई थी बर्खास्ती

विजय कुमार ने कहा कि भारतीय जनता पार्टी सरकार ने अपने शासनकाल में 1 हजार 262 स्वास्थ्य संयोजकों को भी उनके 45 दिन के आंदोलन में बर्खास्त किया था. ऐसे ही सीएमओ भी स्वास्थ्य अधिकारियों को सेवा समाप्ति की धमकी दे रहे थे और कई अधिकारियों को बर्खास्त भी किया गया था. उसके बाद भाजपा सरकार का क्या हुआ वह लोगों के सामने है.

एक सूत्रीय मांग को लेकर हो रहा आंदोलन

बता दें कि नियमितीकरण की एक सूत्रीय मांग को लेकर प्रदेश के संविदा स्वास्थ्य कर्मचारी हड़ताल कर रहे हैं. 19 सितंबर से शुरू हुई संविदा कर्मचारियों की ये हड़ताल अब भी जारी है. स्वास्थ्य मंत्री टीएस सिंहदेव ने इस मामले को चर्चा के जरिए सुलझाने की बात कही है. लेकिन इसके बाद भी स्वास्थ्य कर्मचारियों को एस्मा लगाकर बर्खास्त करने को लेकर संविदा स्वास्थ्य कर्मचारियों में नाराजगी देखने को मिल रही है. अब देखना होगा कि प्रदेश की भूपेश सरकार इन संविदा स्वास्थ्य कर्मचारियों को नियमित करती है या नहीं.