दंतेवाड़ा (सेंट्रल छत्तीसगढ़) :- छत्तीसगढ़ में एक बार फिर नक्सलियों ने बड़ी घटना को अंजाम देने की कोशिश की है। नक्सलियों ने इस बार रायपुर से जगदलपुर जाने वाली पैसेंजर ट्रेन को टारगेट किया। उन्होंने भांसी और बचेली के बीच रेलवे ट्रैक को छतिग्रस्त कर दिया, जिसके कारण ट्रेन पटरी से उतर गई। हादसे के दौरान ट्रेन में 30 पैंसेजर सवार थे, हालांकि सभी सुरक्षित हैं।
दंतेवाड़ा के SP अभिषेक पल्लव ने घटना की पुष्टि की है। उन्होंने बताया कि यात्रियों की सुरक्षा के लिए रिजर्व गार्ड को मौके पर भेजा गया है। सभी को सुरक्षित उनके घर भेज दिया गया है।
यात्रियों की सुरक्षा के लिए रिजर्व गार्ड को मौके पर भेजा गया। जवानों ने यात्रियों को सुरक्षित उनके घर भेजा गया।
3अप्रैल को 24 जवानों हुए थे शहीद
इससे पहले 3 अप्रैल को बस्तर के बीजापुर में शनिवार को नक्सलियों ने 700 जवानों को घेरकर हमला किया था। इस हमले में 24 जवान शहीद हो गए थे। इनमें कोबरा बटालियन के 9, DRG के 8, STF के 6 और एक बस्तरिया बटालियन का जवान शामिल है।
इस इलाके में 2 हजार से ज्यादा जवान नक्सलियों के खिलाफ ऑपरेशन पर निकले थे। उस दौरान ग्राउंड जीरो का एक वीडियो भी सामने आया था, जिसमें 20 जवानों के शव घटनास्थल पर ही दिखाई दे रहे थे।
CRPF जवान को पांच दिन तक बंधक बनाया था
बता दें कि बीजापुर में 3 अप्रैल को जोनागुड़ा में फोर्स और नक्सलियों की मुठभेड़ के बाद माओवादियों ने CRPF के एक जवान राकेश्वर सिंह को बंधक बना लिया था। उन्हें पांच दिन बाद नक्सलियों ने रिहा किया था।
CRPF के जवान राकेश्वर सिंह बाएं।
नक्सलियों ने एयरस्ट्राइक का लगाया था आरोप
बीजापुर नक्सल अटैक के 18 दिन बाद नक्सलियों ने जवानों पर एयर स्ट्राइक का आरोप लगाया था। नक्सलियों ने एक बयान जारी कर बताया कि सुरक्षा बलों ने बीजापुर में ड्रोन से 12 बम गिराए हैं। नक्सलियों ने ब्लास्ट के बाद जमीन में हुए गड्ढों की तस्वीरें जारी की हैं। हालांकि, पुलिस विभाग की ओर से ऐसी किसी भी एयरस्ट्राइक की बात नहीं कही गई।
CRPF ने भी एयरस्ट्राइक की बात नकार दी थी। उन्होंने कहा कि नक्सली लोगों की सहानुभूति हासिल करने के लिए ये हथकंडा अपना रहे हैं। नक्सलियों की दंडकारण्य स्पेशल जोनल कमेटी (DKSZC) के प्रवक्ता विकल्प ने प्रेस नोट जारी कर एयर स्ट्राइक का दावा किया है।
उसने कहा कि 19 अप्रैल को हेलिकॉप्टर और ड्रोन से बम गिराए गए। हेलिकॉप्टर देख नक्सलियों ने अपना ठिकाना बदल लिया और इस वजह से उनको नुकसान नहीं हुआ है। नक्सलियों के मुताबिक, यह हमला पामेड़ क्षेत्र के बोत्तालंका और पाला गुडेम गांव में किया गया।