कोरबा (सेंट्रल छत्तीसगढ़) हिमांशु डिक्सेना: छत्तीसगढ़ मछुआ कल्याण बोर्ड के अध्यक्ष एमआर निषाद सोमवार को जिले के प्रवास पर रहे. इस दौरान उन्होंने विभागीय अधिकारियों से कामकाज की समीक्षा की और सरकारी योजनाओं की जानकारी ली. मीडिया से चर्चा के दौरान उन्होंने कहा कि विभाग के कामकाज के विषय में शिकायतें मिली हैं. जिसकी वह जांच करवाएंगे और गड़बड़ी पाई जाने पर दोषियों के खिलाफ ठोस कार्रवाई की जाएगी.
एमआर निषाद को शिकायत पत्र देते यूथ कांग्रेस के महासचिव
मछली बीज की गिनती का सिस्टम नहीं
मछली किसानों को 50% अनुदान देने की शासकीय योजना है. आमतौर पर मछली किसानों को पैकेट में 1 हजार मछली बीज पैक कर दिया जाता है, जिसमें से केवल 500 मछली बीज की राशि ही ली जाती हैं. इस 1 हजार मछली बीज को गिनने या नापने की कोई प्रक्रिया विभाग के पास मौजूद नहीं है. जिसके कारण किसान लगातार गुमराह हो रहे हैं. इस बारे में मछुआ बोर्ड के अध्यक्ष निषाद का कहना है कि इसके लिए विभागीय अधिकारियों को निर्देशित किया गया है. जांच कर कार्रवाई की जाएगी.
शिकायत की कॉपी
दो जिले के प्रभार में अधिकारी
वर्तमान में कोरबा जिले में मत्स्य विभाग के सहायक संचालक के तौर पर एसपी चौरसिया पदस्थ हैं, जोकि कोरिया और कोरबा में एक साथ दो जिले के प्रभारी हैं. इसे लेकर यूथ कांग्रेस के महासचिव मधुसूदन दास ने मछुआ बोर्ड के अध्यक्ष से शिकायत की है. शिकायत पत्र में कहा गया है कि दो जिलों के प्रभार में होने के कारण विभागीय योजनाओं का लाभ हितग्राहियों को नहीं मिल पा रहा है. विभाग की ओर से ग्रामीणों को लगातार गुमराह किया जा रहा है. महासचिव का आरोप है कि जरूरतमंद किसानों को दरकिनार कर विभागीय अधिकारी सिर्फ अपने चहेतों को लाभ देते हैं. मधुसूदन दास ने फुल फ्लैश अधिकारी की पदस्थापना के साथ ही गड़बड़ी करने वालों पर ठोस कार्रवाई करने की मांग को लेकर निषाद को पत्र लिखा है.
फुल फ्लैश अधिकारी की पदस्थापना कराएंगे
अधिकारी के दो जिलों के प्रभार में होने की शिकायत पर निषाद ने कहा कि इस विषय में वह विभाग को अवगत कराएंगे और सरकारी योजनाओं का लाभ सभी को एक समान रूप से मिल सके इसके लिए फुल फ्लैश अधिकारी की पदस्थापना भी करवाएंगे. हितग्राहियों के चयन के सवाल पर मछुआ बोर्ड के अध्यक्ष ने कहा कि चयन में यदि हितग्राहियों से भेदभाव हो रहा है तो वह इसे गंभीरता से लेंगे. उन्होंने कहा कि उनकी पहली प्राथमिकता है कि शासन की सभी योजनाओं का लाभ एक समान रूप से सभी मछली किसानों को मिले